इंसानों जैसे दिखने वाले इस रोबोट का नाम पेप्पर है। इसे बनाने वाली कंपनी सॉफ्टबैंक रोबोटिक्स कॉर्प ने बताया कि लोगों ने इसे इतना पसंद किया कि लान्च करने के एक ही मिनट में यह बिक गया।
पेप्पर की लंबाई चार फीट और वजन 61 पाउंड है। इसकी खासियत यह है कि इंसानों से बात करने के लिए उनके हाव-भाव, भावनाएं और आवाज पहचान लेता है। यही नहीं, यह अपनी हरकतों से सामने वाले को खुश करने की भी कोशिश करता है।
इसके एंडोक्राइन जैसे नेटवर्क में लगे कैमरे और टच सेंसर से यह सारी चीजें पहचान पाता है और अपने हाव भाव दे पाता है। यह रोबोट भले ही आपके लिए दौड़ दौड़ कर काम न करे लेकिन हमेशा आपका भावात्मक साथी बना रहेगा।
सॉफ्ट बैंक के मुताबिक, '' पैप्पर अपने जानने वालों के साथ आराम से रहता है। वह खुश होता है जब उसकी तारीफ की जाती है और वह घबरा जाता है जब बत्ती चली जाती है।'' इसे बनाने वाले कहते हैं कि रोबोट से गलतियां हो सकती हैं लेकिन पेप्पर धीरे धीरे अपने भावात्मक इंजन के माध्यम से सब सीख जाएगा।
कंपनी ने केवल 100 मॉडल लांच किए थे जिसकी कीमत ¥1,98,000 है। इसके साथ ही ¥24,600 मासिक डाटा और इंश्योरेंस शुल्क जोड़ा गया है। फिलहाल यह रोबोट अंग्रेजी, फ्रेंच, जापानी और स्पैनिश में बात करता है। आने वाले महीनों में इसके ऐप स्टोर में और भाषाएं जोड़ी जाएंगी। अभी इस स्टोर में 200 ऐप हैं।
पेप्पर को रिलीज करने से दो दिन पहले सॉफ्ट बैंक ने एप्पल बनाने वाली कंपनी फॉक्सकॉन और चीनी ई कॉमर्स कंपनी अलिबाबा के साथ मिल कर काम करने का ऐलान किया था।
सॉफ्टबैंक का कहना है कि वह मान कर चल रहे हैं कि पहले चार सालों में उन्हें नुकसान उठा कर ही पेप्पर को बेचना पड़ेगा लेकिन उसके बाद से इसमें मुनाफा होगा। यह अगले 20-30 सालों के लिए देश का राजस्व बढ़ाने में मुख्य भूमिका निभाएगा।
कंपनी के अधिकारी कहते हैं कि वह इसको किफायती ही रखना चाहते हैं और इसकी कीमत जापान में एक पालतू कुत्ता खरीदने जितनी है। कंपनी व्यापारियों के लिए खास रोबोट 'पेप्पर फॉर बिज' भी लांच करने की सोच रही है। पेप्पर को जापानी दुकानों में कॉफी मशीन बेचने के लिए इस्तेमाल किया जा चुका है। इससे जुड़ी बाकी जानकारी कंपनी जुलाई में रिलीज करेगी।
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