लखनऊ। सोशल मीडिया पर धार्मिक उन्माद फैलाने वाले मेसेज पोस्ट करने वाले और उन्हें आगे बढ़ाने वाले अब सलाखों के पीछे भेजे जाएंगे । गुंडा ऐक्ट के तहत उन्हें सांप्रदायिक गुंडे घोषित कर उन पर रासुका लगेगी और जिला बदर भी किया जाएगा।
डीजीपी एके जैन के निर्देश पर ऐसे अराजकतत्वों की निगरानी की कमान एसटीएफ और डीआईजी रेंज मेरठ को सौंपी गई है। लखनऊ और मेरठ में लैब बनाकर पूरे यूपी से आने वाले मेसेज ट्रेस कर आरोपितों की पहचान की जाएगी। आरोप सही पाए जाने पर उन पर कड़ी कार्रवाई होगी।
फैजाबाद में शनिवार को फेसबुक पर सांप्रदायिक फोटो पोस्ट करने के बाद हुए बवाल को लेकर डीजीपी रविवार को खासे सख्त नजर आए। विमिन पावर लाइन का निरीक्षण करने के दौरान उन्होंने बताया कि सूबे में ऐसी हरकत करने वालों को अब बख्शा नहीं जाएगा। सोशल मीडिया के जरिए जो लोग धार्मिक उन्माद फैलाने का प्रयास कर रहे हैं, उन पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
ऐसे लोगों पर गुंडा एक्ट के तहत सांप्रदायिक गुंडा घोषित किया जाएगा और रासुका भी लगेगी। आरोप साबित होने पर जिला बदर कर दिया जाएगा। छानबीन के लिए लखनऊ एसटीएफ और डीआईजी मेरठ रेंज कार्यालय में लैब भी बनाई गई है। सांप्रदायिक गुंडों के खिलाफ कार्रवाई के लिए यूपी के सभी आईजी, डीआईजी और एसएसपी को निर्देश दिए गए हैं।
मेसेज फॉरवर्ड करने वाले भी नपेंगे
सोशल मीडिया पर अगर कोई सांप्रदायिक भावना भड़काने वाला या किसी समुदाय के धर्मगुरु के बारे में कोई मेसेज पोस्ट करता है, उसके खिलाफ तो कार्रवाई होगी। इसके अलावा जो उस मेसेज को आगे बढ़ाएगा उस पर उन्हीं धाराओं में कार्रवाई होगी। यह आदेश रविवार से पूरे प्रदेश में लागू कर दिया गया है।
धार्मिक मेसेज पोस्ट किए जाने के बाद अक्सर माहौल बिगड़ता है। इससे लॉ ऐंड ऑर्डर भी प्रभावित होता है और पुलिस को दिक्कतें पेश आती हैं। डीजीपी ने कहा कि अगर किसी जिले में ऐसे अराजक तत्वों की वजह से माहौल बिगड़ा तो वह शख्स कानून व्यवस्था बिगाड़ने के लिए भी जिम्मेदार माना जाएगा।